Wednesday, 20 April 2016

कांधे पे लटका के झोली चलता एक "फकीर" है...!!
सुख-दुःख सबके देख रहा है बदल रहा तकदीर है...!!
द्वारकामाई में धूनी रमा के रहता है यह "संत"...!!
"उदी" खिला के, तन पे लगा के करे बिमारी का अंत...!!
साई नाथ महाराज की जय ...!!